क्या आपको पता है ?
अजमल आमिर कसाब के पास , "समीर चौधरी" के नाम से अरुणोदय कॉलेज हैदराबाद का फ़र्ज़ी स्टूडेन्ट आई कार्ड बरामद हुआ था .
इसके ही दूसरे साथी के पास "नरेश वर्मा" के नाम का आई कार्ड बरामद हुआ था ,
और
सभी 10 आतंकियों के हाथों पर कलावा भी बंधा हुआ था, .. जो हिन्दू अक्सर अपनी हाथों की कलाइयों पर बांधते हैं
इन आतंकियों का हुलिया भी मुस्लिमो जैसा नहीं था,
सभी की दाढ़ी कटी हुई थी,
ऊपर से इनको देखके कोई बता ही नहीं सकता था
की ये मुस्लिम है
🤔🤔
जबकि इस्लामिक आतंकी अक्सर ऐसे दिखाई देते है,
देखिये कश्मीर में हिज्बुल के आतंकी,
इनको देखके आसानी से बताया जा सकता है
की ये किस मजहब के लोग हैं

अहसान मानिए
वीर तुकाराम ओम्बले" का जिसने 26/11 को RSS की साजिश बनने के आरोप से बचा लिया
नही तो यकीन मानिये कांग्रेस ने पुरी तैयारी कर ली थी
मुम्बई हमले को हिंदू आतंकवादी घटना बनाने के लिये
और दिग्विजय ने तो किताब भी लांच कर दी थी "26/11 RSS की साजिश के नाम से".
और ये किताब आतंकी हमले से पहले ही छपवा ली गयी थी
🤔🤔🤔
अगर तुकाराम ने अजमल कसाब को नहीं पकड़ा होता
तो राज्य और केंद्र दोनों में कांग्रेस की सरकार थी,
इन दसों आतंकियों को हिन्दू आतंकी घोषित कर दिया जाता,
कभी बताया ही नहीं जाता .. की ये इस्लामिक आतंकी है और पाकिस्तान से आये है
और
यही वो कसाब था जिसको बिरयानी खिलायी जाती थी.
एयरकंडीशन जेलों मे बैठा के। कमाल की जुगलबंदी थी कांग्रेस और इनके आकाओ ने .
ये यहाँ अपने हाथों मे कलावा बांध के हिंदुओं के नाम की फर्जी आईडी ले के हमला करते हैं
और इनका एक नेता तुरंत इसे हिंदू आतंकवाद का नाम देके और किताब का विमोचन भी करवा देता है
जाग जाओ, अभी भी ज्यादा देर नही हुयी है..
Peace if possible, truth at all costs.